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Ind Vs Sa:राज्यपाल ने कोलकाता में होने वाले विश्वकप मैच के टिकट लौटाए, कालाबाजारी के आरोपों के बाद लिया फैसला – Ind Vs Sa Governor Returned World Cup Match Tickets Held In Kolkata Decision After Black Marketing Allegations

IND vs SA Governor returned World Cup match tickets held in Kolkata decision after black marketing allegations

West Bengal Governor Dr CV Ananda Bose
– फोटो : Social Media



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राजभवन के एक अधिकारी ने कहा कि पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सी वी आनंद बोस ने शनिवार को भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच बहुप्रतीक्षित क्रिकेट विश्व कप मैच के चार मानार्थ टिकट कालाबाजारी के आरोपों के बाद लौटा दिए। 

ईडन गार्डन्स मुकाबले के टिकट उन्हें बंगाल क्रिकेट एसोसिएशन (सीएबी) द्वारा उपलब्ध कराए गए थे। अधिकारी ने बताया, “राज्यपाल ने सीएबी को मानार्थ टिकट लौटा दिए हैं। उन्होंने राजभवन में एक जनता स्टेडियम खोलने का फैसला किया है, जहां लोग विशाल स्क्रीन पर मैच देख सकेंगे।” 

उन्होंने कहा, मैच देखने के लिए दोपहर 12 बजे से दोपहर 2 बजे तक पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर कुल 500 लोगों को प्रवेश दिया जाएगा। राजभवन लॉन में प्रवेश के लिए प्रशंसक ऑनलाइन आवेदन भी कर सकते हैं। 

अधिकारी ने बताया कि राजभवन शिकायत प्रकोष्ठ को रविवार के मैच के टिकटों की कालाबाजारी की कई शिकायतें मिलने के बाद बोस का फैसला आया। पुलिस ने कहा कि 1 नवंबर से अब तक टिकटों की गैरकानूनी बिक्री के आरोप में 19 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

मैच के टिकटों की कालाबाजारी करने के आरोप में 16 गिरप्तार

इधर, पुलिस ने अब तक टिकट कालाबाजारी के आरोप में 16 लोगों को गिरफ्तार किया है, विभिन्न पुलिस स्टेशनों में 7 मामले दर्ज किए हैं। वहीं रविवार को होने वाले भारत-दक्षिण अफ्रीका के 94 टिकट जब्त किए हैं। एक अधिकारी ने शुक्रवार को कहा कि टिकटों की कथित कालाबाजारी को रोकने के अभियान के तहत ईडन गार्डन्स में विश्व कप मैच खेला जाएगा। 

शुक्रवार को कोलकाता पुलिस के जासूसी विभाग के अधिकारियों ने रविवार के टिकटों की कालाबाजारी के आरोपों के संबंध में ऑनलाइन टिकट बुकिंग पोर्टल के प्रतिनिधियों से पूछताछ की। एक अधिकारी ने बताया कि भारत-दक्षिण अफ्रीका मैच के टिकटों की कालाबाजारी की शिकायत मिलने के बाद पुलिस ने सीएबी और पोर्टल के अधिकारियों को तलब किया था। 

क्या हैं आरोप

शिकायतकर्ताओं ने आरोप लगाया कि बीसीसीआई और सीएबी के कुछ अधिकारियों ने ऑनलाइन टिकट बुकिंग पोर्टल के साथ मिलकर जानबूझकर आम जनता के लिए अच्छी संख्या में टिकट आरक्षित किए और उन्हें कालाबाजारी करने वालों को उपलब्ध करा दिया।

वहीं सीएबी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने आरोपों को खारिज कर दिया और कहा कि वे केवल मैच की मेजबानी कर रहे थे और टिकटों की बिक्री में उनकी कोई भागीदारी नहीं थी, जिसकी देखभाल पोर्टल और अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) द्वारा की जाती थी।

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