Wrestling:डेढ़ वर्ष ठीक से चल नहीं पाने वाले मोहित बनें विश्व चैंपियन, कुश्ती के दौरान मुड़ गया था घुटना – Mohit, Who Could Not Walk Properly For One And A Half Years, Became World Champion, His Knee Was Twisted
अंतरराष्ट्रीय कुश्ती पहलवान मोहित ग्रेवाल।
– फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
विस्तार
आठ साल पहले मोहित को जब कोच जयवीर के अखाड़े में मैट की कुश्ती के गुर सिखाने के लिए ले जाया गया तो उनका वजन सिर्फ 35 किलो था। फिर भी भोपनिया अखाड़े के कोच जयवीर को यह लगा कि इस लड़के में उच्चस्तरीय पहलवान बनने के गुण हैं। वह मोहित को पहलवान बनाने में जुट गए, लेकिन कुछ वर्ष बाद ही दंगल लड़ने के दौरान मोहित का घुटना बुरी तरह मुड़ गया। यह ऐसी चोट थी कि उनका दोबारा कुश्ती लड़ना मुश्किल था। मोहित की पहलवानी छूट गई। वह सही से चल भी नहीं पाते थे। न सीढ़ी चढ़ पाते थे और न ही वजन उठा पाते थे। बावजूद इसके मोहित ने हार नहीं मानीं और हाथों से ही घर पर अभ्यास करते रहे। चमत्कार हुआ, लगभग डेढ़ वर्ष कुश्ती से दूर रहने के बाद उनका घुटना दुरुस्त हो गया और वह फिर अखाड़े में आ गए। यहां से उनकी लगन ऐसी काम आई कि वह जून में अंडर-20 एशियाई चैंपियन और अब उन्होंने अंडर-20 विश्व चैंपियन बनने का गौरव हासिल किया।
मोहित का चला लंबा इलाज
जयवीर बताते हैं कि हरियाणा के झज्झर में पड़ते रोड़ीवास गांव के मोहित का वजन बहुत कम था, लेकिन वह पहलवान बनना चाहता था। उसके पिता उसे मोटरसाइकिल पर बिठाकर गांव में होने वाले दंगल दिखाने ले जाते थे। यहीं से उसे पहलवानी का शौक लगा। पांच भाईयों में चौथे नंबर पर आने वाले मोहित मैट की कुश्ती के अलावा दंगल भी लड़ते थे। मोहित की पहलवानी में मदद करने वाले उनके भाई विक्रम बताते हैं कि दंगल लडऩे के दौरान ही तकरीबन पांच साल पहले मोहित का घुटना मुड़ा। यह चोट खतरनाक थी। डॉक्टरों ने आपरेशन के लिए बोला। उनका पूरा कॅरिअर दांव पर लग गया था, लेकिन एक वैद्य के इलाज ने चमत्कार किया। डेढ़ साल चले इलाज के बाद मोहित का घुटना ठीक हो गया।
अगले वर्ष 65 भार वर्ग में खेलेंगे
इस दौरान परिवार के किसी भी सदस्य ने यह नहीं सोचा था कि मोहित कभी दोबारा पहलवानी कर पाएगा। बावजूद इसके वह घर में हाथों से अभ्यास करता था। एक बार घुटना ठीक हुआ तो वह फिर जयवीर कोच के पास पहुंच गया। यहां से उसने पीछे मुड़कर नहीं देखा। जयवीर कहते हैं कि मोहित 35 से 61 किलो तक पहुंचा है। वह उसे इस साल 61 भार वर्ग में ही लड़ाएंगे, लेकिन अगले वर्ष से वह उसे ओलंपिक भार वर्ग 65 में उतारेंगे।