राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने गुरुवार को यहां एक विशेष अदालत को बताया कि उद्योगपति मुकेश अंबानी और उनकी पत्नी नीता अंबानी फरवरी 2021 में दक्षिण मुंबई में अपने आवास ‘एंटीलिया’ के पास विस्फोटकों से लदी एक कार बरामद होने की घटना के बाद ‘आतंकग्रस्त’ थे।
एजेंसी ने बर्खास्त पुलिस अधिकारी सचिन वाजे की जमानत याचिका का विरोध करते हुए एक हलफनामा दायर किया। सचिन वाजे एंटीलिया बम कांड और उसके बाद व्यवसायी मनसुख हिरेन की हत्या से संबंधित मामलों में मुख्य आरोपी है। एनआईए के अनुसार, मुंबई अपराध शाखा के तत्कालीन सहायक पुलिस निरीक्षक वाजे ने एक साजिश के तहत एंटीलिया के बाहर विस्फोटकों से भरी एक स्कॉर्पियो गाड़ी खड़ी की थी।
हिरेन ने पहले पुलिस को गलत जानकारी दी कि यह उसके कब्जे से चुराया गया था, लेकिन जब उसने बाद में कहा कि वह सच बोलेगा, तो साजिशकर्ताओं ने कथित तौर पर उसे मार डाला। फिलहाल वाजे न्यायिक हिरासत में है और उसने इस साल अप्रैल में जमानत याचिका दायर की थी।
एनआईए के हलफनामे में कहा गया है, यह बिल्कुल स्पष्ट है कि वाजे अपराध में सीधे तौर पर शामिल है और उसने ऐसे अपराध किए हैं जो आतंकवादी कृत्य करने की साजिश रचने, आतंकवादी कृत्य करने, आतंकवादी गिरोह के सदस्य होने, व्यवसायी मनसुख हिरेन के अपहरण और हत्या और आपराधिक साजिश रचने के लिए दंडनीय अपराध है। मामले में कड़े गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) को लागू करने को सही ठहराते हुए एनआईए ने कहा कि भले ही अंबानी परिवार को अतीत में धमकियां मिली हों, वे केवल धमकियां थीं। एजेंसी ने अपने हलफनामे में कहा, मौजूदा मामले में, धमकी आतंकवाद के एक अधिनियम के साथ जुड़ी हुई है और इसलिए यह मामला यूएपीए के दायरे में आती है।
एनआईए ने अदालत को बताया कि इसके अलावा, मुकेश अंबानी और नीता अंबानी इस घटना के बाद “आतंक से त्रस्त” थे, इसलिए गंभीर परिस्थितियों पर विचार करते हुए यूएपीए लागू किया गया था।एजेंसी ने रिलायंस ग्लोबल कॉरपोरेट सोसाइटी के अध्यक्ष और एंटीलिया के सुरक्षा प्रभारी रहे सेवानिवृत्त कर्नल रामविंदर सिंह गिल के बयान का भी हवाला दिया।
गिल ने एनआईए को दिए अपने बयान में कहा था कि जब उन्होंने मुकेश अंबानी को इमारत के बाहर एक कार में जिलेटिन की छड़ें मिलने की जानकारी दी, तो नीता अंबानी के एंटीलिया से शहर के हवाई अड्डे तक जाने के लिए निर्धारित कार्यक्रम में देरी हुई और बाद में रद्द कर दी गई। एजेंसी ने कहा कि वाजे और अन्य आरोपियों ने देश में लोगों के बीच आतंक फैलाने के लिए यह साजिश रची थी। यह अपराध उन पुलिस अधिकारियों द्वारा किया गया था जिन्हें कानून का रक्षक माना जाता है।
एनआईए ने कहा, लोगों के जीवन के तथाकथित रक्षक ने खुद एक इंसान के जीवन को छीनने और उनके मन में आतंक पैदा करने की योजना बनाई। वाजे ने मुंबई पुलिस की अपराध जांच इकाई (सीआईयू) के ऑफिशियल लैपटॉप और प्रिंटर को नष्ट कर दिया, जिसका इस्तेमाल उसने कार में विस्फोटकों के साथ मिले धमकी भरे पत्र को टाइप करने और प्रिंट करने के लिए किया था।
बता दें कि 25 फरवरी, 2021 को मुकेश अंबानी के आवास के पास विस्फोटकों से भरी एक एसयूवी मिली थी। व्यवसायी हिरेन ने कहा था कि चोरी होने से पहले एसयूवी उसके कब्जे में थी, लेकिन 5 मार्च, 2021 को पड़ोसी शहर ठाणे में एक नाले में वह मृत पाया गया था।